Ranchi: झारखंड पुलिस में इंस्पेक्टर से डीएसपी पद पर प्रमोशन की प्रक्रिया कानूनी पेच में फंसती नजर आ रही है। झारखंड हाईकोर्ट में इस मामले को लेकर दायर याचिका पर मंगलवार को सुनवाई हुई, जिसमें वरिष्ठता सूची (सीनियरिटी लिस्ट) की वैधता को चुनौती दी गई है।
न्यायमूर्ति दीपक रौशन की अदालत में याचिकाकर्ता पंकज भूषण एवं अन्य की ओर से अधिवक्ता दिवाकर उपाध्याय ने पक्ष रखा। याचिका में दावा किया गया है कि झारखंड लोक सेवा आयोग (JPSC) को भेजी गई सीनियरिटी लिस्ट में गंभीर त्रुटियां हैं। यदि इसी आधार पर प्रमोशन किया गया तो योग्य एवं वरिष्ठ अधिकारियों के अधिकारों का हनन होगा।
हाईकोर्ट ने इस याचिका पर सभी प्रतिवादियों को नोटिस जारी करते हुए जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है। अदालत ने यह भी स्पष्ट किया कि इस याचिका पर आने वाला निर्णय प्रमोशन प्रक्रिया को सीधे तौर पर प्रभावित करेगा।
क्या है मामला?
झारखंड सरकार के गृह, कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने डीएसपी पद के लिए 64 इंस्पेक्टरों की सीनियरिटी लिस्ट तैयार कर JPSC को भेजी थी। इसके आधार पर जल्द ही प्रमोशन के लिए बोर्ड बैठक होनी थी। लेकिन अब कोर्ट की सुनवाई और टिप्पणी के बाद इस प्रक्रिया पर अस्थायी विराम की स्थिति बन गई है।
याचिका में क्या दलील दी गई?
सीनियरिटी लिस्ट में अनियमितताओं का आरोप।
पारदर्शिता और निष्पक्ष मूल्यांकन की मांग।
योग्य अधिकारियों के अधिकारों के हनन की आशंका।
अब देखना होगा कि हाईकोर्ट के अंतिम फैसले के बाद प्रमोशन प्रक्रिया को क्या दिशा मिलती है। फिलहाल इस मामले ने झारखंड पुलिस महकमे में हलचल मचा दी है।