राज्य सरकार जिलों के विकास के लिए 16वें वित्त आयोग से 1200 करोड़ रुपये की मांग करेगी. इसे लेकर वित्त मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने अधिकारियों के साथ बैठक की.
Jharkhand Development Fund 2025: झारखंड सरकार ने अगले पांच सालों के लिए 16वें वित्त आयोग से 1200 करोड़ रुपये की मांग करने की तैयारी की है. यह राशि सभी जिलों के विकास के लिए मांग जायेगी. इसके तहत प्रत्येक जिले के हर साल 10 करोड़ रुपये दिये जाने का प्रस्ताव रखा जायेगा.
इस राशि का इस्तेमाल जिला स्तर पर स्वास्थ्य, शिक्षा, पेयजल,संपर्क पथ, कृषि और कौशल विकास जैसे प्राथमिक क्षेत्रों के विकास के लिए किया जायेगा.
इस संबंध में गुरुवार को वित्त मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने आला अधिकारियों के साथ बैठक की. बैठक में आयोग के सामने रखे जाने वाले प्रस्ताव पर चर्चा की गयी. बैठक में तय किया गया कि 29 और 30 मई को होने वाली आयोग की बैठक में राज्य की जरूरतों को प्रमुखता से रखा जायेगा. इसे लेकर वित्त मंत्री ने निर्देश दिया कि सभी विभाग अपने स्तर से प्रस्ताव तैयार करें. ताकि केंद्रीय सहायता के लिए मजबूत आधार तैयार हो सके.
इस दौरान मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाओं के सुदृढीकरण पर विशेष ध्यान देने की बात कही. मालूम हो कि साल 2017-18 में केंद्र सरकार ने उग्रवाद प्रभावित जिलों के लिए विशेष केंद्रीय सहायता योजना की शुरुआत की थी.
वित्त मंत्री राधाकृष्ण किशोर ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयास से उग्रवाद में उल्लेखनीय कमी आयी है. ऐसे में जरूरी है कि युवाओं को सही दिशा मिले और उनके लिए रोजगार के अवसर सृजित किये जाएं.
इसके लिए कौशल विकास योजनाओं को प्राथमिकता मिलनी चाहिए. उन्होंने कहा कि राज्य का स्वास्थ्य क्षेत्र अब भी राष्ट्रीय औसत से पीछे है. इस स्थिति में राज्य को केंद्र सरकार की मदद की आवश्यकता है.
वित्त मंत्री ने कहा कि राज्य में करीब 38,400 आंगनबाड़ी केंद्र हैं, जिनकी बुनियादी सुविधाओं को बेहतर करने के लिए केंद्र सरकार से मदद ली जायेगी. इसके अलावा 40 हजार से अधिक प्राथमिक और मध्य विद्यालयों में आधारभूत सुविधाएं सुदृढ करनी की भी आवश्यकता है, जिसमें काफी खर्च आयेगा.