रामगढ़ सदर अस्पताल में चिकित्सकीय लापरवाही का एक गंभीर मामला सामने आया है। चैनगढ़ा की रहने वाली रूना देवी को उनके पति हरीलाल महतो अस्पताल लेकर आए थे। अस्पताल में डिलीवरी बेड की कमी के कारण उन्हें बरामदे में रखा गया।
रूना देवी की तबीयत अचानक बिगड़ गई। पति ने नर्स को बुलाया, लेकिन कोई समय पर नहीं पहुंचा। परिणामस्वरूप महिला की डिलीवरी बरामदे की जमीन पर ही हो गई। घटना के बाद अस्पताल कर्मचारी बच्चे को तुरंत अंदर ले गए।
अस्पताल में मात्र तीन डिलीवरी बेड हैं, जिसके कारण मरीजों को लंबी कतार में प्रतीक्षा करनी पड़ती है। घटना की जानकारी मिलते ही रामगढ़ के सांसद प्रतिनिधि राजीव जायसवाल और विधायक ममता देवी अस्पताल पहुंचे। उन्होंने अस्पताल कर्मियों को कड़ी फटकार लगाई।
सिविल सर्जन डॉ. महालक्ष्मी ने मौके पर पहुंचकर मामले की जांच की और कार्रवाई का आश्वासन दिया। यह घटना स्वास्थ्य व्यवस्था की खामियों को उजागर करती है।