जमशेदपुर: कदमा स्थित मेसर्स अपना मार्ट पर श्रमिकों ने गंभीर श्रम कानून उल्लंघन और अवैध छंटनी का आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज कराई है। ECC फ्लैट, कदमा में संचालित इस संस्थान में कार्यरत “डोर टू डोर” राशन डिलीवरी करने वाले 15 से अधिक श्रमिकों ने आरोप लगाया है कि उन्हें न्यूनतम मजदूरी, ओवरटाइम भुगतान, अवकाश, ईपीएफ, ईएसआई जैसी बुनियादी सुविधाएं नहीं दी जा रही थीं।
श्रमिकों का कहना है कि उनसे प्रतिदिन औसतन 9 घंटे कार्य कराया जाता है, जबकि भुगतान मात्र ₹400 प्रतिदिन किया जाता है, जो कि न्यूनतम मजदूरी अधिनियम और अन्य श्रम कानूनों का खुला उल्लंघन है। साथ ही, डिलीवरी के लिए Google Distance के आधार पर दबाव बनाए जाने से उनकी सुरक्षा को गंभीर खतरा उत्पन्न हो गया है और पहले भी कई दुर्घटनाएं हो चुकी हैं।
जब इन श्रमिकों ने अपने वैधानिक अधिकारों की मांग की, तो मेसर्स अपना मार्ट के प्रबंधन ने सभी की राइडर ID ब्लॉक कर उन्हें नौकरी से निकाल दिया। आरोप है कि यह कार्यवाही प्रबंधन के एक वरिष्ठ अधिकारी अमरदीप सिंह के निर्देश पर की गई, जो औद्योगिक विवाद अधिनियम का सीधा उल्लंघन है।
श्रमिकों की मांग है कि:
उन्हें उनके सभी वैधानिक अधिकार दिए जाएं।
अवैध रूप से हटाए गए श्रमिकों को पुनः सेवा में बहाल किया जाए।
दोषी अधिकारियों पर विधिसम्मत कार्रवाई की जाए।
श्रमिकों की ओर से यह चेतावनी दी गई है कि यदि एक सप्ताह के भीतर उचित कार्रवाई नहीं की जाती, तो यूनियन श्रम विभाग और न्यायालय की शरण लेने को बाध्य होगी। इस पूरे मामले ने क्षेत्र में श्रमिक अधिकारों को लेकर एक बार फिर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है और प्रशासनिक हस्तक्षेप की मांग तेज हो गई है।