बोकारो जिले के चीरा चास क्षेत्र के नंदूआ स्थान की घनी आबादी के बीच एक ऐसी अवैध फैक्ट्री संचालित हो रही थी, जो अपने जहरीले उत्पादों से न केवल लोगों के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ कर रही थी, बल्कि सरकार के राजस्व को भी भारी नुकसान पहुंचा रही थी। इस फैक्ट्री में बिना किसी मानक के विभिन्न नामी ब्रांडों की नकली शराब तैयार कर बाजार में सप्लाई की जा रही थी।
यह शराब न केवल स्थानीय बाजार में बल्कि झारखंड और बिहार के कई हिस्सों में बड़ी मात्रा में खपाई जा रही थी। असली शराब की हूबहू नक़ल कर बनाई जा रही इस जहरीली शराब को बेचने के लिए कोई नियम-कानून नहीं देखा जा रहा था और न ही मानव जीवन की कोई परवाह की जा रही थी।
इस गुप्त कारोबार का खुलासा उस वक्त हुआ जब चीरा चास थाना पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर इस अवैध शराब फैक्ट्री पर छापेमारी की। छापेमारी के दौरान पुलिस ने भारी मात्रा में शराब निर्माण में उपयोग होने वाले केमिकल, मशीनरी, बोतलें और विभिन्न ब्रांडों की तैयार नकली शराब बरामद की। पुलिस ने इस अवैध धंधे के मास्टरमाइंड गोपाल सिंह और पिंटू सिंह को गिरफ्तार कर उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर ली है।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, इस इलाके में पहले भी कई बार अवैध शराब के कारोबार का भंडाफोड़ हो चुका है। इसके बावजूद शराब माफिया बार-बार नए सिरे से इस धंधे को शुरू कर रहे हैं। फैक्ट्री के संचालक का सुराग फिलहाल नहीं मिल पाया है और पुलिस की टीम उसकी तलाश में जुटी हुई है।
आवासीय कॉलोनी के बीच संचालित इस तरह की अवैध गतिविधियों को लेकर आम नागरिकों में नाराजगी और चिंता का माहौल है। लोग अब सवाल उठा रहे हैं कि किसकी मिलीभगत से बार-बार इस तरह के अवैध कारोबार पनप रहे हैं। वहीं पुलिस ने भरोसा दिलाया है कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा और इस पूरे नेटवर्क की तह तक पहुंचने के लिए छानबीन जारी है।