सरायकेला जिला के आरआईटी थाना क्षेत्र के अंतर्गत आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र के फेज तीन में स्थित टफसील इंडिया प्राइवेट लिमिटेड कंपनी में कार्यरत स्थायी कर्मी 47 वर्षीय योगेंद्र गोराई की शनिवार को संदिग्ध परिस्थिति में मृत्यु हो गई। चौंकाने वाली बात यह रही कि मजदूर की मौत की जानकारी मिलने के बावजूद कंपनी के मालिक या वरिष्ठ प्रबंधन के किसी भी अधिकारी ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।
इसके बाद परिजनों ने घटना की सूचना JLKM नेता प्रेम मार्डी को दी। खबर मिलते ही प्रेम मार्डी अपनी पूरी टीम के साथ एमजीएम अस्पताल पहुंचे और शव को लेकर कंपनी के मुख्य द्वार पर धरने पर बैठ गए। प्रेम मार्डी ने बताया कि मृतक मूलतः सीनी के निवासी थे और शनिवार को सुबह की ‘ए’ शिफ्ट ड्यूटी में आए थे। इसी दौरान अचानक उनकी तबीयत बिगड़ गई। साथ काम कर रहे कर्मचारियों ने उन्हें ईएसआईसी अस्पताल पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। इसके बाद कंपनी प्रबंधन ने शव को एमजीएम अस्पताल के शवगृह में भिजवा दिया।
इस पूरी घटना के दौरान न तो कंपनी प्रबंधन सामने आया और न ही मालिक ने शोक संवेदना प्रकट की, जिससे परिजनों में रोष और निराशा है। परिजनों ने मृतक के परिजन को 20 लाख रुपये का मुआवजा, परिवार के एक सदस्य को नौकरी देने और बच्चों के पालन-पोषण की जिम्मेदारी उठाने की मांग की है।
हालांकि देर रात तक जब कंपनी का कोई प्रतिनिधि नहीं पहुंचा, तब प्रशासनिक आग्रह पर प्रेम मार्डी ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजने की सहमति दी। उन्होंने चेताया है कि अगर पीड़ित परिवार को न्याय नहीं मिला तो पोस्टमार्टम के बाद शव को दोबारा कंपनी गेट पर रखकर विरोध प्रदर्शन किया जाएगा। बताया जा रहा है कि मृतक के परिवार में उनकी पत्नी और दो छोटे बच्चे हैं। प्रेम मार्डी ने यह भी कहा कि पिछले तीन-चार वर्षों से कंपनी प्रबंधन और श्रमिकों के बीच संबंध तनावपूर्ण रहे हैं। मजदूर की मौत कैसे हुई, यह जांच का विषय है।